आज के इस लेख में मैं आप सभी को डायरेक्ट सेल्लिंग के अंदर सफलता और असफलता का जो रहस्य हैं उसके बारे में बताऊंग। तो डायरेक्ट सेल्लिंग के अंदर जो सफलता और असफलता का रहस्य है उसको मैं आप सभी को एक कहानी के माध्यम से समझाना चाहूंगा।
इसलिए वह पैसा कमाने के चक्कर में शहर चला जाता है और शहर में जाकर वह अपने लिए काम ढूंढ लेता है। और फाइनली उसे काम भी मिल जाता है और वह काम करके अपने लिए बहुत ही अच्छा खासा पैसा कमाने लगता है।
तो उसके घर आने के 5 से 6 दिन बाद उस गांव में एक बहुत ही अच्छा है कलाकार आता है और उस कलाकार को एक बहुत ही अच्छा चित्र बनाना था तो वह अपने उस पेंटिंग के लिए ब्रश को बनाने के लिए ऊंटनी के बच्चे का जो पूछ होता है उस पूछ के बाल्को काटता है और उसका इस्तेमाल करके पेंटिंग के लिए ब्रश तैयार करता है।
और उसके बाद वह बहुत ही अच्छी अच्छी पेंटिंग बनाने लगता है और कुछ दिनों बाद वह उस गांव से चला जाता है अपने सारे पेंटिंग को लेकर। यह जो लड़का ऊंटनी को लेकर आया था वो ऊंटनी भी दूध देने लगती है।
उसके बाद यह लड़का उस दूध को बेचकर बहुत ज्यादा पैसा कमाने लगा और उसी पैसे से यह लड़का कुछ और ऊंट खरीद लिया।
और उसके 1 से 2 महीने बाद वह जो चित्रकार था वह लौटकर फिर उसी गांव में आता है और वह चित्रकार इस लड़को बहुत ज्यादा पैसा देता है और पैसे देते हुए बोलता है कि यह पैसा आपका है। तब यह लड़का चौक जाता है और यह पूछता है कि यह पैसा किस लिए आप मुझे दे रहे हैं?
तब यह चित्रकार यह बोलता है कि यह जो ऊंट का बच्चा है इसी ऊंट के पूंछ के बालों को लेकर मैं पेंटिंग के लिए ब्रश तैयार किया था और उसी ब्रश से मैं बहुत अच्छा अच्छा पेंटिंग बनाने लगा जिससे मुझे बहुत ही अच्छी कमाई हुई है।
इसलिए मैं कुछ पैसा आपको भी दे रहा हूं तभी लड़का बहुत ही खुश होता है। और यह लड़का जब शहर से आया था तो एक घंटी लेकर आया था उस घंटी को उसके बच्चे के गले में बांध देता है।
और वह लड़का उसके साथ-साथ और भी ऊंट खरीद लिया था और उन सारे ऊंटो के साथ जब भी चरने जाता था तो उसके गले में जो घंटी थी उसकी आवाज आती थी तो उसको यह लगता था कि मैं बहुत ही स्पेशल हूं। इसलिए झुंड में नहीं चलता था झुंड से अलग चलता था और ऊंट झुंड में चलते थे।
वह सारे ऊंट मिलकर उस ऊंट के बच्चे को समझाने लगे कि तुम भी झुंड में चला करो। लेकिन यह मानता ही नहीं था इसको यह लगता था कि मैं बहुत ही स्पेशल हूं इसलिए वह उन सारे ऊंटों से अलग चलता था।
और 1 दिन क्या हुआ की जब यह ऊंट जंगल में चरने गए तो उस जंगल में एक शेर था जो पहले से ही इन सारे ऊंट के झुंड के ऊपर नजर बैठाया था।.............